पटना, मार्च 8, 2021: पटना जिलाधिकारी ने कार्यालय के कर्मियों की प्रविष्टि मानव संसाधन प्रबंधन प्रणाली (एचआरएमएस ) एचआरएमएस पोर्टल पर करने तथा सेवापुस्त का स्क्रीनिंग 15 मार्च तक सुनिश्चित करने को कहा है।

सोमवार को जिलाधिकारी डॉ चंद्रशेखर सिंह ने एचआरएमएस, ऑनलाइन म्यूटेशन, जल जीवन हरियाली सहित कई अन्य बिंदुओं पर अधिकारियों के साथ हिंदी भवन सभागार में बैठक की तथा आवश्यक निर्देश दिया।

उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय कार्यालयों के तहत प्रखंड कार्यालय, अंचल कार्यालय, सीडीपीओ कार्यालय तथा एसडीओ कार्यालय के कर्मियों की प्रविष्टि एचआरएमएस पोर्टल पर किया जाना है। उन्होंने इस कार्य को प्राथमिकता देते हुए कर्मियों की पोर्टल पर इंट्री कराने को कहा।

बैठक में जिलाधिकारी ने शिक्षा विभाग, स्वास्थ्य विभाग एवं पुलिस विभाग को विशेष अभियान चलाकर पूरा करने का निर्देश दिया। बैठक से सिविल सर्जन बिना कोई सूचना के अनाधिकृत रूप से अनुपस्थित पाई गई तथा एंट्री का कार्य भी अत्यंत धीमी है। परिणाम स्वरूप सिविल सर्जन से स्पष्टीकरण करने तथा इंट्री संबंधी कार्य में प्रगति होने तक वेतन स्थगित किया गया है।

सभी अनुमंडल पदाधिकारी को अपने-अपने कार्यालयों डीसीएलआर ऑफिस तथा प्रखंड स्तरीय कार्यालयों में उक्त कार्य समय के अनुरूप पूरा कराने हेतु बैठक करने तथा नियमित समीक्षा कर कार्य पूरा कराने का निर्देश दिया गया। इसके लिए प्राथमिकता के आधार पर पर्याप्त संख्या में कर्मी की प्रतिनियुक्ति करने तथा नोडल पदाधिकारी नामित कर प्रभावी मॉनिटरिंग करने एवं कार्य में प्रगति लाने को कहा। उक्त कार्यों के निष्पादन में किसी प्रकार की तकनीकी कठिनाई होने पर आईटी मैनेजर से समन्वय स्थापित करने का निर्देश दिया गया।

उन्होंने ऑनलाइन म्यूटेशन की समीक्षा के क्रम में पाया गया कि पटना सदर, नौबतपुर ,फुलवारी शरीफ, धनरूआ एवं दानापुर का इस मामले में खराब प्रदर्शन है। तदनुसार उक्त अंचल को 1 सप्ताह के अंदर लंबित मामलों के निष्पादन का निर्देश दिया गया ।

जिलाधिकारी ने प्राथमिक /मध्य एवं हाई स्कूल के जमीन को अतिक्रमण मुक्त करने संबंधी विस्तृत रिपोर्ट प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी एवं अंचलाधिकारी को संयुक्त रूप से 14 मार्च तक प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया।

बैठक में उप विकास आयुक्त श्री रिची पांडे, अपर समाहर्ता राजस्व श्री राजीव श्रीवास्तव जिला कृषि पदाधिकारी जिला शिक्षा पदाधिकारी सहित कई अन्य विभागों के अधिकारी शामिल थे।