नई दिल्ली, 26 मई, 2021: दिल्ली के मुख्यमंत्री ने बुधवार को एक डिजिटल प्रेसवार्ता की। कोरोना के बढ़ते मामले के बीच इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में कुछ अहम बातें साझा की गई। दिल्ली में कोरोना के मामले में पहले से काफी गिरावट आई है, मगर सरकार अभी भी पूरी तरह सतर्क हैं जिसके कारण लॉकडाउन और अन्य पाबंदियां लगा कर संक्रमण रोकने की कोशिश जारी है।

मुख्यमंत्री ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि दिल्ली में वैक्सीन समाप्त हो चूका है। पिछले चार दिनों से 18-44 साल वालों के लिए वैक्सीन उपलब्ध नहीं हैं। सेंटर बंद हो रहे हैं। ऐसी स्थिति सही नहीं है। इस वजह से खतरा बढ़ने की संभावना है। उन्होंने कहा कि बस दिल्ली की ये हालत नहीं है पूरे देश में यही हाल है। जब हमें नए सेंटर खोलने चाहिए थे तभी हम वैक्सीन की कमी की वजह से पुराने सेंटर भी बंद कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना की दूसरी लहर बेहद घातक साबित हुई है। देश भर में बहुत से परिवार बिखर गए कई लोगों की जाने गई। हम इसे रोक सकते थे, मगर देश ने छह महीने बर्बाद कर दिए। बचाव के लिए जो वैक्सीनेशन अभियान हमें छह महीने पहले शुरू कर देना चाहिए था, हम अब कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सबसे पहले भारतीय वैज्ञानिकों ने वैक्सीन बनाई, लेकिन हम यहाँ वैक्सीनेशन शुरू करने की बजाय दूसरे देशो को वैक्सीन भेजनें में लग गए।

मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि केंद्र सरकार को वैक्सीन उपलब्ध करानी चाहिए थी, मगर राज्यों को कहा गया कि वे अपने स्तर पर व्यवस्था करें। दो महीने से सभी राज्य वैक्सीन उपलब्ध कराने में लगे हैं, लेकिन कोई सफल नहीं हो सका हैं। ग्लोबल टेंडर भी फेल हो गए।

मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि यदि आज पाकिस्तान भारत पर हमला कर दे तों केंद्र सरकार यह नहीं कह सकती की सभी राज्य अपने टैंक खरीदे। यदि पाकिस्तान जीता तो भाजपा नहीं, देश हारेगा। इसी प्रकार कोरोना के विरुद्ध जंग मेँ भाजपा, आम आदमी पार्टी या शिवसेना नहीं बल्कि पूरा भारत हारेगा। यह समय एक साथ होकर काम करने का है। जो भी केंद्र का है उन्हें करना होगा। राज्यों को जो भी जिम्मेदारी दी जाएगी, उसे निभाएंगे। उन्होंने कहा मैं प्रधानमंत्री जी से अनुरोध करना चाहता हूं की केंद्र सरकार राज्यों को वैक्सीन मुहैया कराए। वैक्सीन लगवाना फिर राज्य की जिम्मेदारी हैं। दिल्ली की ताजा आंकड़ो के हिसाब से यहाँ कोरोना के नए मरीज 1500 के आसपास मिले। वहीं मृतकों की संख्या अभी भी चिंताजनक है। 24 घंटे में यहाँ 130 लोगों ने कोरोना से अपनी जान गवाई है। मगर राहत की बात यह है कि संक्रमण दर पिछले दिनों के मुकाबले कम हो रहे हैं।